इशिका धामीवाल अब नेशनल लेवल पर दौड़ेगी।
‘म्हारी छोरी के छोरा से कम है’ यह कहावत एक बार फिर सच कर दिखाई है मेवात के तावडू खंड के गांव जौरासी की होनहार धाविका, इशिका धामीवाल ने।
करनाल में आयोजित 37वीं हरियाणा एथलेटिक्स चैंपियनशिप में इशिका धामीवाल ने 100 मीटर दौड़ में सबसे तेज दौड़ लगाकर स्वर्ण पदक अपने नाम किया। जैसे ही इशिका के स्वर्ण पदक जीतने की खबर गांव में फैली, उनके घर पर बधाई देने वालों की कतार लग गई। इशिका की इस शानदार उपलब्धि से पूरे गांव में हर्ष का माहौल बन गया।
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इशिका गुरुग्राम के ताऊ देवीलाल स्टेडियम में कोच अर्जुन के मार्गदर्शन में अपनी ट्रेनिंग करती हैं। उनकी मेहनत और कोच की देखरेख ने उन्हें सफलता की ओर अग्रसर किया। स्वर्ण पदक जीतने के साथ ही, इशिका का चयन ओडिशा में होने वाली राष्ट्रीय चैंपियनशिप के लिए भी हो गया है, जिससे उनकी उपलब्धियां और भी व्यापक होंगी।
इशिका धामीवाल को इससे पहले बेस्ट एथलीट अवॉर्ड से भी नवाजा जा चुका है। उन्होंने अपने माता-पिता और बड़े भाई अजय धामीवाल, जो एक अंतरराष्ट्रीय मुक्केबाज और कोच हैं, की प्रेरणा से दौड़ना शुरू किया था। अजय ने हमेशा इशिका का मार्गदर्शन किया और उसे आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया।
इशिका ने पहले भी राष्ट्रीय स्तर पर पदक जीतकर मेवात और गांव जौरासी का नाम रोशन किया है। कुछ समय पहले ही उन्होंने स्कूल स्टेट में गोल्ड मेडल जीतकर अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया था।
इशिका धामीवाल को इससे पहले बेस्ट एथलीट अवॉर्ड से भी नवाजा जा चुका है। उन्होंने अपने माता-पिता और बड़े भाई अजय धामीवाल, जो एक अंतरराष्ट्रीय मुक्केबाज और कोच हैं, की प्रेरणा से दौड़ना शुरू किया था। अजय ने हमेशा इशिका का मार्गदर्शन किया और उसे आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया।
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